Dear @mehta sir!
आप से पुनः मिलकर बहुत खुशी हुई।पिछले 15 दिनों में स्टीमीट पर काफी उतार चढ़ाव भरे दिन देखने को मिले।
इस बार आपने अपने लेख में बहुत ही संवेदनशील मुद्दा उठाया है जहां एक तरफ भारत सरकार गाय को राष्ट्रीय पशु घोषित करने का प्रयास में लगी है वहीं दूसरी तरफ निजी स्वार्थों और धन के लोलिता के चलते कुछ मानवों द्वारा गौ माता के साथ अमानवीय व्यवहार किया जा रहा है।अधिक दूध प्राप्त करने के चक्कर में गायों को इंजेक्शन दिया जा रहा है। जिनसे से उन्हें अधिक पीड़ा सहन करनी पड़ती है उनके बछड़ों को पर्याप्त दूध पीने के लिए नहीं छोड़ा जाता। सबसे बड़ी विडंबना तो यह है कि उन्हें नकेल से कस कर रखा जाता है, ताकि वह अपनी शक्ति का उपयोग ना कर पाए ऐसी स्थिति में गौ माता के नाक में घाव जाता है। उपयोग में ना रहने के कारण इन्हें गौ मांस के लिए भेज दिया जाता है कितना करोड़ अन्याय गौ माता के साथ किया जा रहा है।
अगर सही नजरिए से देखा जाए तो हमें गाय के द्वारा खाद गोबर उपले बछड़े जो हमारे खेतों में काम आते हैं दूध इतना सब हमें प्रदान करते हैं फिर भी हम उनके साथ ऐसा व्यवहार करते हैं शर्म आनी चाहिए मानव जाति पर। रही बात दूध से पोषक तत्व प्राप्त करने की तो जैसा कि आपने बताया(लिंक में) कि हमारे रोजमर्रा की खानपान वस्तुएं ,जो हमारे खेतों में उत्पन्न होती हैं, उनसे मिल जाती हैं फिर इस दूध के लालच में हम अपने गौ माता के साथ ऐसा दुर्व्यवहार क्यों करते हैं।
हमने आपके द्वारा दिए गए फेसबुक लिंक पर जाकर देखा बहुत ही अच्छी जानकारी दी गई है। वहां पर जो भी यूजर हैं लिंक पर जाकर देख सकते हैं कि किस तरीके से गौ माता के साथ मानवीय व्यवहार किया जा रहा है।
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आपको सारी बात यदि समझ में आ गई है तो बहुत ही अच्छा है, वरना अच्छो अच्छो को एक बार में समझ में नहीं आती. अमल में करना तो दूर की कोड़ी है.
आप तो बड़े ही समझदार लगते है.
धन्यवाद
सर हम तो अपना बेहतर देने का प्रयास करते हैं, मूल्यांकन करना आप बड़े लोगों का काम है।
अगर आपको लगता है कि हम कुछ अच्छा कर रहे हैं तो यह हमारे लिए बहुत ही खुशी की बात है। धन्यवाद सर।
एक बात समझनी बहुत जरुरी है की जब तक गौ माता का शोषण नहीं किया जायेगा हम उसका गोबर से ले कर दूध तक कुछ नहीं ले पायेंगे अत: हमारे पास २ ही विकल्प है या तो हम कथित बहु उपयोगी गौ उत्पादों का पूर्णत: बहिष्कार करें अथवा उस पर होने वाले अत्याचारों को सामान्य मान कर अनदेखा करें. गौ माता से माता सामान व्यवहार कर उससे किसी भी प्रकार का फायदा लेना संभव नहीं है .